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नई दिल्लीः जवाहर लाल विश्वविद्यालय (JNU) से जहां एक ओर तमाम क्रांतिकारी निकले हैं तो कई बार यहां से देश के खिलाफ जहर उगलने वाले लोग भी सामने आए हैं. इसी यूनिवर्सिटी के उमर खालिद (Umar Khalid) और शरजील इमाम पर देशद्रोह के संगीन आरोप लगे हैं. हाल ही में दिल्ली पुलिस ने उमर खालिद के देशद्रोही गतिविधियों में शामिल होने के पुख्ता सबूत होने की बात साझा की थी. पुलिस का दावा है कि उमर खालिद ने बहुत दिमाग लगाकर दिल्ली दंगों की साजिश रची थी. इसमें शरजील का भी हाथ था. जेएनयू की इस जोड़ी पर पर UAPA के तहत मामला दर्ज किया गया है. इसी बीच एक और जेएनयू छात्रा पर देशद्रोह के आरोप लगे हैं. ये आरोप किसी और ने नहीं बल्कि छात्रा के पिता ने ही लगाए हैं. दरअसल, यहां हम बात कर रहे हैं शहला रसीद की, जिनके पिता का बयान आने के बाद शहला को फौरन ट्विटर पर लंबी-चौड़ी सफाई देनी पड़ी.
शहला के पिता ने कहा, ‘बेटी से है जान का खतरा’
शहला रसीद भी जवाहर लाल यूनिवर्सिटी की स्टूडेंट हैं जिन पर उनके अपने पिता ने देशद्रोह के आरोप लगाए हैं. शहला रशीद के पिता अब्दुल राशिद शोरा (Abdul Rashid Shora) ने जम्मू-कश्मीर (Jammu-Kashmir) के डीजीपी को पत्र लिखकर अपनी बेटी पर गंभीर आरोप लगाए हैं. शहला रसीद (Shehla Rashid) के पिता अब्दुल राशिद ने पत्र में दावा करते हुए लिखा है कि अपनी बेटी से उन्हें जान का खतरा है. पिता का आरोप है कि शहला रशीद देश विरोधी गतिविधियों में शामिल है और उसका आतंकियों के साथ कनेक्शन है.
ये भी देखें- Video: शहला रशीद के पिता ने लगाए आरोप-‘मेरी बेटी देशद्रोही गतिविधियों में शामिल’
पिता ने कहा, मुझे मुंह बंद करने के लिए पैसा ऑफर
शहला के पिता ने ये भी कहा, ”जो लोग आज टेरर फंडिंग में NIA की गिरफ्त में हैं चाहे वह पॉलीटिशियंस हैं या बिजनेसमैन हैं, ऐसे में आतंकी गतिविधियों में कहीं ना कहीं इसका भी साथ जरूर दिख रहा है और ऐसा इसने क्यों किया ये उनकी समझ से बाहर है. मैंने उसे कई बार समझाया कि इन सब चीजों से दूर रहे लेकिन अब मुझे जान से मारने की धमकी मिल रही है.” जेएनयू की पूर्व छात्रा के पिता अब्दुल रशीद ने आगे आरोप लगाया कि उन्हें मुंह बंद रखने के लिए पैसा ऑफर किया जा रहा है.
JNU में शहला ने पहली बार पहलाया था लाल झंडा
जेएनयू की कारगुजारियों को लेकर जब शहला रशीद पर सवाल उठे तो उस दौरान जम्मू-कश्मीर के पूर्व सीएम उमर अब्दुल्ला ने भी शहला का समर्थन और बचाव किया था. शहला जेएनयू से पीएचडी कर रही हैं. गौरतलब है कि शहला रशीद कन्हैया कुमार, उमर खालिद और अनिर्बान भट्टाचार्य की करीबी दोस्त हैं. गौरतलब है कि जब खालिद, कन्हैया और अनिर्बान भट्टाचार्य पर राजद्रोह के आरोप लगे थे तब वाम कार्यकर्ता और छात्र नेता शहला राशिद ने कहा कि यह भाजपा का ‘भूला हुआ ट्रंप कार्ड’ है. उन्होंने कहा, ‘जब भाजपा राष्ट्र विरोधी कार्ड खेलती है तो वह असम, उत्तर प्रदेश आदि राज्यों में चुनाव जीतती है.’
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